एमजे को झटका, प्रिया रमानी आरोप मुक्त
अदालत ने पूर्व केंद्रीय मंत्री एमजे अकबर के आपराधिक मानहानि के मामले से पत्रकार प्रिया रमानी को आरोप मुक्त कर दिया।
पूर्व केंद्रीय मंत्री एमजे अकबर |
राऊज एवेन्यू कोर्ट के अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट रविंद्र कुमार पांडे ने कहा कि अकबर रमानी के खिलाफ मानहानि का दावा साबित करने में विफल रहे हैं। मजिस्ट्रेट ने इसके साथ ही अपील करने की दशा में रमानी को 10 हजार रुपए के निजी मुचलके पर जमानत दे दी है। मालूम हो, मीटू अभियान के तहत अकबर पर वर्ष 2018 में रमानी ने यौन प्रताड़ना का आरोप लगाया था। इसको लेकर अकबर ने रमानी के खिलाफ 15 अक्टूबर, 2018 को मानहानि का दावा दायर कर दिया था।
मजिस्ट्रेट ने अपने 91 पन्नों के फैसले में कहा है कि संविधान में सभी को अनुच्छेद 21 के तहत सम्मान के साथ रहने का अधिकार दिया है। एक महिला अपनी प्रतिष्ठा को लेकर किसी भी प्लेटफार्म पर दशकों बाद भी आवाज उठा सकती है।
सच्चाई की जीत पर अच्छा महसूस हो रहा : रमानी
प्रिया रमानी ने फैसले पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि अदालत में सच्चाई की जीत होने पर अच्छा महसूस हो रहा है। उन्होंने कहा कि अदालत में आरोपी के रूप में पीड़िता को ही खड़ा होना होता है। मेरे से साथ खड़ा रहने वाले सभी लोगों का मैं शुक्रिया अदा करती हूं, खासतौर पर मेरी गवाह गजाला वहाब, जो अदालत में आई और मेरी ओर से गवाही दी। रमानी ने फैसला सुनाए जाने के बाद कहा, ‘मैं फैसले के लिए अदालत का शुक्रिया अदा करती हूं।’
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