भारतीय शेयर बाजार के लिए बीता हफ्ता काफी नुकसान वाला रहा। बाजार में चौतरफा बिकवाली देखी गई।
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ऐसे में आने वाला हफ्ता बाजार के लिए काफी महत्वपूर्ण होगा, क्योंकि इस दौरान ब्याज दर की समीक्षा के लिए भारतीय रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया मौद्रिक नीति समिति (RBI MPC) की बैठक, इंडिया इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन (आईआईपी) के अगस्त के आंकड़े और वित्त वर्ष 2024-25 की दूसरी तिमाही के नतीजे आने शुरू हो जाएंगे, जिनका बाजार पर सीधा असर होगा।
जानकारी के मुताबिक, 7 अक्टूबर से लेकर 11 अक्टूबर के बीच टीसीएस, टाटा एलेक्सी, डीमार्ट, और आईआरईडीए के साथ कई अन्य कंपनियों सितंबर तिमाही के नतीजे घोषित करेंगी। ऐसे में बाजार में इन शेयरों पर निवेशकों का फोकस रहेगा।
पिछला कारोबारी हफ्ते में शेयर बाजार में बड़ी गिरावट दी गई। निफ्टी और सेंसेक्स दोनों करीब 4.50 प्रतिशत की कमजोरी के साथ क्रमश: 25,014.60 और 81,688.45 पर बंद हुए।
30 सितंबर से लेकर 4 अक्टूबर तक की अवधि में बाजार में गिरावट असर सभी सेक्टरों में देखा गया। निफ्टी रियल्टी 7.77 प्रतिशत, निफ्टी ऑटो 5.98 प्रतिशत, निफ्टी एनर्जी 5.49 प्रतिशत, निफ्टी ऑयल एंड गैस 5.11 प्रतिशत, निफ्टी फाइनेंस 5.01 प्रतिशत, निफ्टी बैंक 4.23 प्रतिशत, निफ्टी एफएमसीजी 3.62 प्रतिशत, निफ्टी मीडिया 2 प्रतिशत, निफ्टी पीएसयू बैंक 1.96 प्रतिशत, निफ्टी फार्मा 1.82 प्रतिशत, निफ्टी आईटी 0.85 प्रतिशत की गिरावट हुई । केवल निफ्टी मेटल ने 0.51 प्रतिशत का सकारात्मक रिटर्न दिया है।
मास्टर कैपिटल सर्विसेज की डायरेक्टर पल्का अरोड़ा चोपड़ा का कहना है कि निफ्टी में पिछले हफ्ते बड़ी गिरावट देखी गई। हालांकि, 25,000 के ऊपर बंद होने में कामयाब रहा। अगर निफ्टी इस स्तर के नीचे जाता है तो 24,700 एक अहम सपोर्ट होगा। अगर यह भी टूटता है तो 24,400 के स्तर भी देखने को मिल सकते हैं।
आगे कहा कि अगर आने वाले हफ्ते में निफ्टी 25,300 से ऊपर बंद होने में कामयाब रहता है तो इंडेक्स 25,700 की तरफ दोबारा जा सकता है।
स्वास्तिका इन्वेस्टमार्ट में सीनियर टेक्निकल एनालिस्ट प्रवेश गौड़ ने कहा कि बैंक निफ्टी 100 दिन के मूविंग एवरेज (डीएमए) 51,100 के ऊपर है, जो कि एक सपोर्ट लेवल के रूप में काम कर रहा है। यह टूटता है तो 200 दिन का मूविंग एवरेज 50,000 से लेकर 49,500 एक अहम सपोर्ट होगा। वहीं, तेजी में 52,500 और 53,300 एक रुकावट का स्तर हो सकते हैं।
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