संकट में पश्चिम एशिया

Last Updated 03 Oct 2024 01:11:59 PM IST

इजरायल पर ईरान की ओर से बैलिस्टिक मिसाइलों से हमलों से पश्चिम एशिया में युद्ध का संकट गहरा गया है।


संकट में पश्चिम एशिया

इजरायल और छापामार संगठन हमास एवं हिजबुल्लाह के बीच का संघर्ष तो सीमित दायरे में होने वाली उथल-पुथल थी लेकिन संघर्ष में ईरान के शामिल होने के बाद क्या होगा, इसका आकलन जाने-माने युद्ध विश्लेषक भी नहीं कर पा रहे हैं।

ईरान ने कहा है कि हमला हमास प्रमुख इस्माइल हानिया और हिजबुल्लाह चीफ नरुल्लाह की मौत का बदला है। सुनिश्चित है कि इजरायल प्रतिक्रियास्वरूप ज्यादा मारक हमला ईरान पर करेगा। अमेरिका ने इजरायल की मदद करने की घोषणा कर दी है।

फिलिस्तीन में जब संघर्ष शुरू हुआ था तो परमाणु विशेषज्ञों ने संभावना व्यक्त की थी कि ईरान कुछ ही सप्ताह के अंदर परमाणु बम बना सकता है। पिछले एक वर्ष के दौरान ईरान का परमाणु कार्यक्रम कहां तक पहुंचा है, इस बारे में कयास ही लगाया जा सकता है।

पश्चिम एशिया के संघर्ष में परमाणु हथियारों का आयाम जुड़ जाने से विश्व मानवता के सामने अभूतपूर्व संकट पैदा हो गया है। ईरान ने जैसे तेवर अपनाए हैं, उसे देखते हुए इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता कि उसके पास सीमित संख्या में परमाणु बम हों। युद्ध भयावह रूप लेता है तो इजरायल टैक्टीकल परमाणु बम (सीमित विध्वंस क्षमता) का उपयोग कर सकता है।

ऐसा उस समय होगा जब इजरायल परंपरागत हथियारों से अपनी रक्षा करने में स्वयं को कमजोर महसूस करे। ईरान के पास परमाणु बम है तो इन्हीं हालात में इजरायल के खिलाफ उनका इस्तेमाल करेगा।

पश्चिम एशिया के अनेक देशों में अमेरिका के सैनिक अड्डे हैं जिनका उपयोग इजरायल की मदद के लिए किया जाएगा। ऐसे में अमेरिकी अड्डे ईरान के लिए माकूल निशाना बन सकते हैं। दूसरी ओर, रूस और चीन कभी नहीं चाहेंगे कि ईरान की भारी पराजय हो। वे सीधे रूप से युद्ध में शामिल होते हैं या नहीं, यह बहुत कुछ हालात पर निर्भर करता है।

भारत के लिए भी पश्चिम एशिया का संकट नई आर्थिक चुनौती पेश कर सकता है। आने वाले दिनों में कच्चे तेल का अंतरराष्ट्रीय मूल्य कितना ऊपर जाता है, यह विश्व अर्थव्यवस्था की बहाली के लिए निर्णायक होगा।

रूस के खिलाफ यदि प्रतिबंध जारी रहा और पश्चिम एशिया से तेल आपूर्ति बाधित हुई तो जापान और यूरोप के देशों की अर्थव्यवस्था की कमर टूट सकती है। भारत के लिए राहत की बात यह है कि रूस एक विसनीय ऊर्जा प्रदाता देश है, जो आड़े समय में उसके काम आएगा।



Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment