तीनों कृषि कानून किसानों के लिए ‘मौत का फरमान’ : अरविंद केजरीवाल

Last Updated 28 Feb 2021 05:11:45 PM IST

तीन नए कृषि कानूनों को किसानों के लिए ‘मौत का फरमान’ करार देते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रविवार को यहां कहा कि इससे किसानों की जमीन छीन ली जाएगी और किसान अपने ही खेत में मजदूर बन जाएगा।


दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (file photo)

तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ आम आदमी पार्टी (आप) द्वारा मेरठ में आयोजित किसान महापंचायत को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि भीषण ठंड में किसान लगातार आंदोलन इसलिए कर रहे हैं क्योंकि उनकी खेती पूंजीपतियों के पास चली जाएगी, किसान अपने ही खेत में मजदूर बन जाएगा। उन्होंने दावा किया कि पिछले 25 साल में साढे तीन लाख किसान आत्महत्या कर चुके हैं।

केजरीवाल ने आरोप लगाया कि भाजपा ने सरकार बनने के तीन साल के अंदर ही किसानों को धोखा दे दिया। आज पूरे देश में किसानों पर अत्याचार हो रहा है, पानी की बौछारें छोड़ी जा रही हैं, उनके रास्ते में कीलें बिछाई जा रही हैं।

उन्होंने कहा कि वे किसान हैं, देश के दुश्मन नहीं हैं, अंग्रेजों ने भी इतने जुल्म नहीं किये थे। इन लोगों (सरकार) ने तो अंग्रेजों को भी पीछे छोड़ दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि किसानों पर झूठे मुकदमे किये जा रहे हैं।

लालकिले का पूरा कांड इन लोगों ने खुद कराया

उन्होंने दावा किया, ‘‘लालकिले का पूरा कांड इन लोगों ने खुद कराया। मेरे पास आने वाले तमाम लोगों ने कहा कि इन लोगों ने जानबूझकर किसानों को लालकिले का रास्ता दिया। जिन लोगों ने लालकिले पर झंडा फहराया, वह इनके अपने कार्यकर्ता थे।’’

केजरीवाल ने कहा कि किसान कुछ भी हो सकता है लेकिन देशद्रोही नहीं हो सकता है, आज भाजपा की सरकार किसानों पर देशद्रोह का मुकदमा कर रही है, किसानों को आतंकवादी बता रहे हैं।

2014 के घोषणापत्र में भाजपा ने कहा था कि स्वामीनाथन रिपोर्ट लागू करेंगे

उन्होंने दावा किया कि वर्ष 2014 के घोषणापत्र में भाजपा ने कहा था कि स्वामीनाथन रिपोर्ट लागू करेंगे, फसल का 50 प्रतिशत लाभ देंगे, एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) लागू करेंगे लेकिन सरकार बनने पर वर्ष 2017 में सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा देकर कहा कि एमएसपी नहीं दे सकते।
केजरीवाल ने कहा,‘‘ देश में 70 साल में सभी पार्टी की सरकारें आईं, सभी ने किसानों के साथ छल किया है। किसानों ने केवल अपनी फसल की कीमत मांगी है लेकिन उसे भी नहीं दे रहे हैं। हर पार्टी के घोषणापत्र में किसानों की बात होती है लेकिन उसे पूरा नहीं किया जाता है।

केन्द्र सरकार ने नौ स्टेडियम को जेल बनाने के लिए पत्र भेजा

दिल्ली के मुख्यमंत्री ने दावा किया कि केंद्र सरकार ने नौ स्टेडियम को जेल बनाने के लिए पत्र भेजा था, जिसकी फाइल उन्हें भेजी गई लेकिन उन्होंने उसे मंजूरी नहीं दी।
उन्होंने कहा, ‘‘अगर हम जेल बनाने देते तो ये किसानों को वहां कैद कर लेते और सारा आंदोलन खत्म हो जाता।’’
केजरीवाल ने कहा कि राकेश टिकैत किसानों के लिए बार्डर पर अपना शरीर तपा रहे है, लेकिन सरकार ने जो किया उस कारण उनकी आंखों में आंसू आ गए। सरकार धरना समाप्त कराना चाहती थी। इस कारण राकेश टिकैत के आंसू निकल आए।
केजरीवाल ने उत्तर प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यहां के चीनी मिलों पर किसानों का 18 हजार करोड़ रुपये बकाया है और राज्य की योगी सरकार किसानों को उनकी फसल का दाम नहीं दिला पा रही है।

केन्द्र सरकार चीनी मिल मालिकों के सामने घुटने टेक कर बैठी

उन्होंने कहा, ‘‘मैं पूछना चाहता हूं योगीजी कि क्या मजबूरी है, क्यों आपकी पूरी सरकार चीनी मिल मालिकों के सामने घुटने टेक कर बैठी है। अगर आप अपने गन्ना किसानों को मिल मालिकों से पैसा नहीं दिला सकते तो आपकी सरकार को लानत है।’’
केजरीवाल ने कहा कि उत्तर प्रदेश में सही नीयत वाली सरकार लानी पड़ेगी।
उन्होंने कहा कि जिस दिन उत्तर प्रदेश में सही नीयत वाली सरकार आएगी उस दिन आप (किसान) इधर अपने ट्रैक्टर से मिल पर गन्ना डालकर जाएंगे और उधर आपके घर पहुंचने से पहले पैसा खाते में आ जाएगा।
बता दें कि कांग्रेस, रालोद के बाद आप ने किसान महापंचायत की शुरुआत मेरठ से की है। किसान महापंचायत के लिए आप कार्यकर्ता पिछले कुछ दिनों से लगातार गांव-गांव जाकर किसानों से जनसंपर्क कर रहे थे।

भाषा
मेरठ


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment