CWC Meeting: राहुल गांधी को नेता प्रतिपक्ष बनाने की मांग, CWC की बैठक में प्रस्ताव पास
दिल्ली में शनिवार को कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक करीब 3 घंटे चली और इस बैठक में कई अहम प्रस्ताव पर चर्चा हुई और कई अपनाए गए।
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निचले सदन में पार्टी संसदीय दल का नेता ही नेता प्रतिपक्ष होगा। कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव में 99 सीट जीती हैं।
पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की अध्यक्षता में हुई विस्तारित कांग्रेस कार्य समिति (CWC) की बैठक में लोकसभा चुनाव में पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी, राहुल गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी के योगदान की सराहना भी की गई और इसको लेकर एक प्रस्ताव भी पारित किया गया।
विस्तारित कार्य समिति की बैठक में पार्टी संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी, पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा, संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और कार्य समिति के अन्य सदस्य एवं वरिष्ठ नेता मौजूद रहे।
राहुल गांधी को नेता प्रतिपक्ष बनाने पर प्रस्ताव पास हो गया और इस पर जल्द ही फैसला लिया जाएगा।
लोकसभा चुनाव के बाद सीडब्ल्यूसी की यह पहली बैठक थी।
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने बताया कि कार्यसमिति की बैठक में सभी नेता मौजूद थे। उन्होंने जनता को धन्यवाद करते हुए कहा कि हमारे देश के लोगों को इस लोकतंत्र को बचाए रखने, इस गणतंत्र के संविधान की रक्षा करने और सामाजिक-आर्थिक न्याय को बढ़ाने के लिए इतने शक्तिशाली जनादेश के लिए बहुत बहुत बधाई है।
उन्होंने कहा कि इस देश की जनता ने पिछले एक दशक में की गई शासन की प्रकृति और शैली दोनों को निर्णायक रूप से नकार दिया है। लोकसभा चुनाव का ये जनादेश न केवल प्रधानमंत्री की राजनीतिक हार है, बल्कि उनकी नैतिक हार भी है। उन्होंने अपने नाम पर जनादेश मांगते हुए झूठ, नफरत, पूर्वाग्रह, विभाजन और अत्यधिक कट्टरपंथी अभियान चलाया था। यह जनादेश स्पष्ट रुप से लोकतंत्र एवं लोकतांत्रिक संस्थाओं को 2014 के बाद निरंतर दबाए जाने के विरुद्ध है।
केसी वेणुगोपाल ने कहा कि कांग्रेस कार्यसमिति अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करते हुए कुछ राज्यों में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के दुर्भाग्यपूर्ण प्रदर्शन को स्वीकार करते हुए और मेहनत करने का संकल्प लेती है। भले ही पार्टी का प्रदर्शन सामान्यतः सुधार और पुनरुत्थान की ओर अग्रसर है। उन राज्यों में कमियों को दूर करने के लिए तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए और उठाए जाएंगे, जहां पार्टी को और बेहतर नतीजों की उम्मीद थी, लेकिन जहां वह पूरी नहीं हुई।
#WATCH कांग्रेस की सीडब्ल्यूसी बैठक के बाद कांग्रेस नेता केसी वेणुगोपाल ने कहा, "कांग्रेस कार्यसमिति ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर राहुल गांधी से लोकसभा में विपक्ष के नेता का पद स्वीकार करने का अनुरोध किया। उन्होंने जवाब दिया कि वे इस बारे में सोचेंगे..." pic.twitter.com/DlUbPQOi4M
— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 8, 2024
केसी वेणुगोपाल ने कहा कि पार्टी ने बेहतरीन अभियान चलाया, जिसके केंद्र में गणतंत्र के संविधान और अनुसूचित जाति, जनजाति एवं पिछड़े वर्ग के आरक्षण के अवसर के प्रावधानों की जोरदार रक्षा को रखा गया था। हमने एक स्पष्ट वैकल्पिक राजनीतिक, आर्थिक और सामाजिक दृष्टिकोण रखा। गरीबों का हित हमारे अभियान के केंद्र में था, राष्ट्रव्यापी सामाजिक और आर्थिक जनगणना को हमने रेखांकित किया, जिससे सामाजिक न्याय, सशक्तिकरण एवं नौजवानों व किसानों की आकांक्षाओं को संबोधित किया जा सके। आम चुनावों का ये परिणाम वास्तव में हमारे सामूहिक प्रयास का नतीजा है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस कार्यसमिति की ये बहुत बड़ी चूक होगी यदि इस मौके पर हम उन चार दिग्गजों को धन्यवाद नहीं देते जिन्होंने पार्टी के इस जुझारू अभियान का नेतृत्व किया। जिनमें कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे की ऊर्जा और दृढ़ संकल्प पार्टी में सभी के लिए प्रेरणास्रोत रही है। वे संसद और संसद के बाहर दोनों जगह निर्भीक और निडर होकर लड़े।
केसी वेणुगोपाल ने कहा कि कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी हमेशा मार्गदर्शन, सलाह और समर्थन के लिए उपलब्ध थीं। अभियान के महत्वपूर्ण क्षणों में उनके मार्गदर्शन ने महत्वपूर्ण अंतर पैदा किया। इसके साथ ही अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने देश भर में, विशेष रूप से उत्तर प्रदेश में, शानदार चुनावी अभियान चलाया। उन्होंने सबसे प्रभावशाली तरीके से भाजपा को लगातार बेनकाब किया और कांग्रेस के न्याय सन्देश को बहुत शक्तिशाली तरीके से संप्रेषित किया।
इसके बास केसी वेणुगोपाल ने कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा और भारत जोड़ो न्याय यात्रा के सफल क्रियान्वयन, डिजाइन और नेतृत्व के लिए उन्हें विशेष रूप से धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि ये दोनों यात्राएं, उनकी अपनी सोच और व्यक्तित्व को दर्शाती हैं। यह यात्रा हमारे देश की राजनीति में एक ऐसा ऐतिहासिक मोड़ थीं जिसने हमारे लाखों कार्यकर्ताओं और करोड़ों मतदाताओं में आशा और विश्वास जगाया। राहुल गांधी का चुनाव अभियान एकनिष्ठ, तीक्ष्ण और सटीक था। 2024 के चुनाव में संविधान की रक्षा के विषय को राहुल गांधी जी द्वारा सबसे मुखरता से उठाया गया।
उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु और महाराष्ट्र में साथी दलों के सहयोग से इंडिया गठबंधन ने अपना झंडा गाड़ा। 18वीं लोकसभा में इंडिया गठबंधन का महत्वपूर्ण योगदान रहेगा।
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