असम में हिन्दी भाषियों पर हमले, छह मरे
असम के कोकराझार जिले में नेशनल डेमोक्रेटिक फ्रंट आफ बोडोलैंड के उग्रवादियों ने शुक्रवार देर रात पांच हिन्दीभाषियों को एक बस से खींच कर नीचे उतारा और मार डाला.
उग्रवादी हमले में घायल युवक को अस्पताल ले जाते पुलिस के जवान. |
मृतकों में तीन बिहार के सारण व एक सीवान जिले के निवासी थे. हमले में तीन अन्य बिहारी घायल हो गये. हमले के 24 घंटे के भीतर उसी संगठन के उग्रवादियों ने शनिवार को एक और बिहारी की गोली मारकर हत्या कर दी. उधर चिरांग जिले के पानबाड़ी के एक बाजार में शाम लगभग सात बजे उग्रवादियों ने लगातार गोलीबारी की.
गोलीबारी में एक व्यक्ति की मौत हो गयी जबकि चार अन्य घायल हो गये. असम में बिहारियों की हत्या की घटना पर नीतीश सरकार ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. राज्य सरकार ने उचित कार्रवाई का निर्देश देते हुए प्रत्येक मृतक के आश्रितों को एक-एक लाख रुपया का अनुग्रह अनुदान और मुख्यमंत्री राहत कोष से एक-एक लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार मरने वालों में सारण के इसुआपुर थाना क्षेत्र के बंगरा गांव निवासी पप्पू कुमार सिंह (25 वषर्), मढ़ौरा थाना क्षेत्र के रामपुर गांव के रास बिहारी गिरि (19 वषर्) एवं अवध बिहारी गिरि (20 वषर्) शामिल हैं जबकि इसुआपुर के बंगरा गांव निवासी अखिलेश कुमार सिंह घायल हो गये. हमले में सीवान के सोमेर मंत्री (20 वषर्) की भी जान चली गई.
सूत्रों के मुताबिक उग्रवादियों ने सेरफानगुरी थाना क्षेत्र के रामफलबिल इलाके में राष्ट्रीय राजमार्ग तीन पर शुक्रवार की रात करीब दस बजे एक बस को रोका. उग्रवादियों ने आठ यात्रियों को बस से नीचे उतरने को कहा. उन्होंने उन्हें कतार में खड़ा कर दिया और उन पर दनादन गोलियां चला दीं. बस पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी से मेघालय के शिलांग जा रही थी.
घायलों की पहचान अमोल गुप्ता, रामानंद ओझा और बाबूलाल कर्मकार के रूप में हुई है. उन्हें बोंगाईगांव सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. शनिवार की घटना जिले के उदलगुड़ी थाने के तहत अंबा गांव में हुई. पुलिस ने बताया कि मृतक की पहचान बिहार निवासी बिक्र म ठाकुर (55 वषर्) के तौर पर की गयी है. वह पेशे से नाई था. वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के अनुसार बिक्र म सिंह सैलून से बाहर निकल रहा था, तभी एनडीएफबी के संदिग्ध आतंकवादियों ने बेहद नजदीक से उसे गोली मारी, जिससे घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गयी.
उधर चिरांग जिले के पानबाड़ी के एक बाजार में हुई गोलीबारी में मारे गये मृतक की पहचान इमरान अली के रूप में हुई है. इस बीच बिहार सरकार की पहल पर असम सरकार ने भी प्रत्येक मृतक के आश्रितों को केन्द्रीय योजना से तीन-तीन लाख और असम राज्य योजना से भी तीन-तीन लाख रुपये स्वीकृत किये हैं. मृतकों का शव सड़क मार्ग से बिहार लाया जा रहा है.
शव पहुंचने पर मृतकों का अंतिम संस्कार राज्य सरकार अपने खर्च पर करेगी. गृह विभाग के प्रधान सचिव आमिर सुबहानी ने शनिवार को संवाददाता सम्मेलन में बताया कि उग्रवादी घटना में बिहार के चार युवकों की हत्या की सूचना मिलने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने उचित कार्रवाई के निदेश दिये. मारे गये बिहारी असम में स्थित अपने परिवार से मिलने गये थे.
मुख्यमंत्री के निदेश पर असम के गृह सचिव ज्ञानेन्द्र त्रिपाठी से बात की गयी. उन्होंने असम के गृह सचिव से घटना की जानकारी लेने के बाद दोषियों के विरुद्ध कड़ी कानूनी कार्रवाई करने का अनुरोध करते हुए मृतकों के शवों को उनके बिहार स्थित गांवों में भेजने का अनुरोध किया. सारण और सीवान के पुलिस अधीक्षकों ने भी कोकराझार पुलिस अधीक्षक से बात की. विशेष शाखा के अपर पुलिस महानिदेशक सुनील कुमार ने असम पुलिस के वरीय पदाधिकारियों से संपर्क कर मृतकों के पोस्टमार्टम तथा अन्य कानूनी कार्रवाई करने की व्यवस्था की है.
उन्होंने बताया कि सारण एवं सीवान के जिला प्रशासन को निदेश दिया गया है कि मृतकों का अंतिम संस्कार की व्यवस्था जिला प्रशासन द्वारा की जायेगी. उस पर होने वाला व्यय का वहन भी जिला प्रशासन करेगा. असम के गृह सचिव ने भी बताया कि मृतकों के आश्रितों को मुआवजा देने की प्रक्रिया शीघ्र पूरा करते हुए भुगतान किया जायेगा.
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