भारतीय नौसेना के जहाज आईओएस सागर ने भारत और मॉरीशस के रिश्तों को और मजबूती दी है। दोनों देशों के बीच स्थायी संबंधों को मजबूत करते हुए, आईओएस सागर ने मॉरीशस के पोर्ट लुइस में एक महत्वपूर्ण और आकर्षक पोर्ट कॉल किया।

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आईओएस सागर भारतीय महासागर में अपनी तैनाती के रूप में 26 से 28 अप्रैल तक पोर्ट लुइस में रहा। यहां अपने बंदरगाह दौरे के दौरान, जहाज के कमांडिंग ऑफिसर ने मॉरीशस तटरक्षक के कमांडेंट से मुलाकात की और दोनों समुद्री बलों के बीच सहयोग को मजबूत करने की प्रतिबद्धता की पुष्टि की।
यह भारतीय नौसेना का एक अत्याधुनिक सरयू श्रेणी का जहाज है। इसे समुद्री डकैती विरोधी अभियानों, समुद्री निगरानी, मानवीय सहायता और आपदा राहत के लिए डिजाइन किया गया है। जहाज मध्यम और नजदीकी रेंज के गनरी हथियारों से लैस है। यह मिसाइल रक्षा उपायों सहित आधुनिक इलेक्ट्रॉनिक युद्ध सूट से भी लैस है।
पोर्ट लुइस से प्रस्थान के समय, आईओएस सागर मॉरीशस तटरक्षक के साथ संयुक्त एक्सक्लूसिव इकोनॉमिक जोन (ईईजेड) की निगरानी करने वाला है। यह निगरानी पूरी होने पर, जहाज अपने अगले बंदरगाह, पोर्ट विक्टोरिया, सेशेल्स की ओर बढ़ेगा।
इस तरह नौसेना का यह जहाज हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) में समुद्री सुरक्षा, क्षेत्रीय सहयोग और सद्भावना बढ़ाने के अपने मिशन को जारी रखेगा। भारतीय नौसेना के इस जहाज में नौ मित्र देशों के 44 विदेशी नौसैनिक सवार हैं। इनमें मॉरीशस गणराज्य के दो अधिकारी और छह नाविक भी शामिल हैं।
इस बहुराष्ट्रीय चालक दल के चुनिंदा कर्मियों ने मॉरीशस पुलिस बल (एमपीएफ) की कई प्रमुख प्रशिक्षण सुविधाओं का दौरा किया। उन्होंने विशेष मोबाइल बल स्क्वाड्रन, समुद्री वायु स्क्वाड्रन, तट रक्षक प्रशिक्षण स्कूल और पुलिस हेलीकॉप्टर स्क्वाड्रन का दौरा किया और अपने समकक्ष अधिकारियों के साथ बातचीत की।
इस यात्रा ने ज्ञान और अनुभव का आदान-प्रदान और समुद्री सुरक्षा में आपसी हितों के क्षेत्रों पर चर्चा करने का एक अनूठा अवसर प्रदान किया। सामाजिक गतिविधियों के एक हिस्से के रूप में, आईओएस सागर पर एक संयुक्त योग सत्र का आयोजन किया गया। इसमें बहुराष्ट्रीय चालक दल और एमपीएफ कर्मियों ने भाग लिया।
इस कार्यक्रम में राष्ट्रीय तटरक्षक बल के कमांडेंट भी शामिल हुए। आईओएस सागर और एमपीएफ के चालक दल ने एक दोस्ताना वॉलीबॉल मैच भी खेला। आईओएस सागर ने स्थानीय आगंतुकों के लिए अपने डेक खोले। एमपीएफ के सदस्यों, भारतीय प्रवासियों और अन्य उत्साही समूह जहाज पर आए। आगंतुकों को जहाज का दौरा कराया गया और उसकी परिचालन क्षमताओं, नेविगेशन सिस्टम और जहाज पर जीवन के बारे में जानकारी दी गई।
इसके अलावा, बहुराष्ट्रीय चालक दल सहित जहाज के चालक दल के लिए प्रतिष्ठित सिग्नल माउंटेन की यात्रा आयोजित की गई।
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