राष्ट्रीय राजधानी और उत्तर-पश्चिम भारत के आसपास के क्षेत्रों में 29 अगस्त से बारिश होने का अनुमान है।
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भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के अनुसार ऐसा इसलिए होगा क्योंकि मॉनसून के कम दबाव के क्षेत्र के हिमालय की तलहटी से मैदानी इलाकों की ओर बढ़ने की उम्मीद है।
मौसम वैज्ञानिकों ने कहा है कि दिल्ली और उत्तर-पश्चिम भारत के अन्य इलाकों में फिलहाल मानसून का आंशिक, “रुक-रुक कर बारिश” वाला चरण देखा जा रहा है।
आईएमडी ने बुधवार को एक बयान में कहा, “मॉनसून का कम दबाव वाला क्षेत्र हिमालय की तलहटी के करीब बना हुआ है। इसके कल तक (26 अगस्त) वहां बने रहने का अनुमान है।”
आईएमडी में वरिष्ठ वैज्ञानिक आर के जेनामनी ने कहा कि वर्तमान में क्षेत्र में मॉनसून ‘कमजोर’ पड़ गया है। उन्होंने कहा, “अगर मॉनसून का कम दबाव का क्षेत्र हिमालय की तलहटी के और करीब बढ़ता है और दो से तीन दिन लगातार वहां रहता है तो हम इसे ‘ब्रेक मॉनसून’ चरण कहेंगे।”
मानसून के मौसम के दौरान, ऐसा समय होता है जब कम दबाव का क्षेत्र (मॉनसून ट्रफ) हिमालय की तलहटी के करीब पहुंच जाता है, जिससे देश के अधिकांश हिस्सों में बारिश में तेज गिरावट आती है। इसे “ब्रेक मॉनसून” चरण कहा जाता है। हालांकि, हिमालय की तलहटी, पूर्वोत्तर भारत और दक्षिणी प्रायद्वीप के कुछ हिस्सों में वर्षा बढ़ जाती है।
जुलाई में, मॉनसून दिल्ली सहित उत्तर-पश्चिम भारत के अधिकांश हिस्सों में पहुंचने से पहले ही इस चरण में प्रवेश कर चुका था। उत्तर पश्चिम भारत में राष्ट्रीय राजधानी और आसपास के क्षेत्रों ने 10 अगस्त को फिर से "ब्रेक मानसून" चरण में प्रवेश किया जो 19 अगस्त तक जारी रहा।
आईएमडी ने कहा कि 27 अगस्त को उत्तर-पश्चिम और उससे सटे पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी में एक चक्रवाती घुमाव की उम्मीद है। इसके 29 अगस्त से पश्चिमी छोर की तरफ आने की संभावना है, जिससे दिल्ली सहित उत्तर पश्चिमी भारत में बारिश हो सकती है। राजधानी में 29 अगस्त से हल्की बारिश का अनुमान है।
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