आम बजट 2021: एक नजर में जानें बजट की मुख्य बातें
Last Updated 01 Feb 2021 03:53:49 PM IST
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपना तीसरा और मोदी सरकार का यह नौंवा बजट होगा। कोरोना महामारी के संकट के बाद का यह पहला बजट है।
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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा सोमवार को संसद में पेश 2021-22 के बजट की मुख्य बातें निम्नलिखित हैं।
- राजकोषीय और स्वास्थ्य मद पर खर्च ..स्वास्थ्य क्षेत्र पर खर्च 137 प्रतिशत बढाकर 2.23 लाख करोड़ रुपये किया गया।
- एक अप्रैल से शुरू अगले वित्त वर्ष में कोविड टीके के लिये 35,000 करोड़ रुपये के व्यय का प्रावधान।
- देश में कोरोना से बचाव के लिये दो टीके उपलब्ध, दो और टीके जल्दी ही जारी किये जाएंगे।
- अगले वित्त वर्ष में पूंजी व्यय उल्लेखनीय रूप से बढाकर 5.54 लाख करोड़ रुपये किया गया जो चालू वित्त वर्ष में 4.39 लाख करोड़ रुपये था।
- चालू वित्त वर्ष के लिये राजकोषीय घाटा 9.5 प्रतिशत रहने का अनुमान जो बजटीय अनुमान 3.5 प्रतिशत से कहीं अधिक है।
- अगले वित्त वर्ष के लिय राजकोषीय घाटा 6.8 प्रतिशत रहने का अनुमान। सरकार 12 लाख करोड़ रुपये कर्ज लेगी।
- सरकार 2025-26 तक राजकोषीय घाटा 4.5 प्रतिशत के नीचे लाने को लेकर प्रतिबद्ध।
कर प्रस्ताव:
- 75 साल से अधिक के वरिष्ठ नागिरकों के लिये आईटीआर (आयकर रिटर्न) भरना अनिवार्य नहीं, बैंक टीडीएस (स्रोत पर कर कटौती) काटेंगे।
- आयकर मामलों को दोबारा से खोलने के लिये समयसीमा आधा कर 3 साल किया गया। गंभीर धोखाधड़ी मामलों में यह 10 साल है।
- आयकर रिटर्न भरने वालों की संख्या बढकर 2020 में 6.48 करोड़ हुई जो 2014 में 3.31 करोड़ थी।
- सोना, चांदी डोर बार (सोने और चांदी की मिश्र धातु) पर कृषि बुनियादी ढांचा उपकर 2.5 प्रतिशत, सेब पर 35 प्रतिशत लगाया गया।
- बजट में काबुली चना पर 30 प्रतिशत, मटर पर 10 प्रतिशत, बंगाल चना पर 50 प्रतिशत, मसूर पर 20 प्रतिशत, कपास पर 5 प्रतिशत पर कृषि बुनियादी ढांचा उपकर।
- पेट्रोल पर 2.5 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 4 रुपये प्रति लीटर का उपकर लगाया गया।
- नया कृषि बुनियादी ढांचा विकास उपकर दो फरवरी से लागू होगा।
- कर विभाग प्रवासी भारतीयों (एनआरआई) को दोहरे कराधान से होने वाली समस्याओं को दूर करने के लिये नियमों को अधिसूचित करेगा।
- स्टार्टअप के लिये कर अवकाश, पूंजीगत-लाभ कर छूट एक साल के लिये बढायी गयी।
- विमान पट्टे पर देने वाली कंपनियों, प्रवासी मजदूरों के लिये अधिसूचित सस्ते मकान के लिये कर छूट।
- सस्ते मकान के लिये ब्याज भुगतान पर 1.5 लाख रुपये की छूट एक साल के लिये बढायी गयी।
- डिजिटल तरीके से अपना ज्यादातर काम करने वाली कंपनियों के लिये कर ऑडिट छूट की सीमा दोगुना कर 10 करोड़ रुपये किया गया।
- सीमा शुल्क में पुरानी चार सौ छूटों की समीक्षा का प्रस्ताव, अक्टूबर 2021 से इसपर गहन विचार किया जाएगा।
- वाहनों के कुछ कल-पुर्जे, सौर उपकरणों पर सीमा शुल्क बढाया गया।
आबंटन और सुधार:
- बीमा क्षेत्र में एफडीआई 49 प्रतिशत से बढाकर 74 प्रतिशत किया गया।
- विनिवेश लक्ष्य 1.75 लाख करोड़ रुपये रखा गया।
- जिन कंपनियों का विनिवेश किया जाएगा, बीपीसीएल, आईडीबीआई बैंक, सार्वजनिक क्षेत्र के दो और बैंकों तथा एक बीमा कंपनी शामिल हैं।
- अगले वित्त वर्ष में सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में 20,000 करोड़ रुपये की पूंजी डाली जाएगी।
- बजट में 64,180 करोड़ रुपये के आबंटन के साथ आत्मनिर्भर स्वास्थ्य कार्यक्रम शुरू किया गया।
- बजट में किये गये प्रस्ताव छह मुख्य केंद्रों पर आधारित हैं
- स्वास्थ्य और सुख-सुविधाएं, भौतिक और वित्तीय पूंजी तथा बुनियादी ढांचा, आकांक्षी भारत के लिये समावेशी विकास, मानव पूंजी, नवप्रवर्तन आर अनुसंधान एवं विकास, न्यूनतम शासन कारगर शासन।
- सरकार 20,000 करोड़ रुपये की पूंजी के साथ विकास वित्त संस्थान गठित करेगी।
- स्वैच्छिक वाहन कबाड़ नीति के तहत पुराने वाहनों को हटाया जाएगा। व्यक्तिगत उपयोग वाले वाहनों के लिये 20 साल बाद फिटनेस जांच का प्रस्ताव।
- संभावित पुरानी ढांचागत संपत्तियों को बाजार पर चढाने के लिये राष्ट्रीय मौद्रीकरण कार्यक्रम।
- डिजिटल तरीके से पहली जनगणना के लिये 3,726 करोड़ रुपये का प्रावधान।
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