हरित ऊर्जा : सस्ती प्रौद्योगिकी वक्त की मांग

Last Updated 14 Oct 2024 01:03:41 PM IST

बढ़ती जनसंख्या, घटते संसाधन न सिर्फ मानव जीविका को प्रभावित करते हैं, बल्कि इनसे ऊर्जा संसाधन भी प्रभावित होते हैं। आज वैश्विक स्तर पर घटते ऊर्जा स्रेत के समाधान की तलाश में सभी देश अपने- अपने स्तर पर काम कर रहे हैं।


हरित ऊर्जा : सस्ती प्रौद्योगिकी वक्त की मांग

ऊर्जा की बढ़ती मांग और जीवाश्म ईधन के दहन से ग्रीनहाउस गैसों में लगातार वृद्धि हो रही है, जिससे जलवायु परिवर्तन की घटनाएं बढ़ रही हैं।

ग्रीनहाउस गैसों को कम करने तथा ऊर्जा की मांग को पूरा करने में हरित ऊर्जा कारगर साबित हो रही है। अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी की रिपोर्ट (2024) के अनुसार अगले तीन वर्षो में दुनिया भर में बिजली की मांग बढ़ेगी। इसे पूरा करने तथा पर्यावरणीय प्रभाव कम करने के लिए हरित ऊर्जा की ओर दुनिया देख रही है। भारत सौर ऊर्जा, जलीय और पवन ऊर्जा पर काफी जोर दे रहा है। भारत में सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए राज्य और केंद्र सरकार द्वारा कई योजनाएं चलाई जा रही हैं। सौर ऊर्जा को बढ़ावा और ऊर्जा संबंधी समस्याओं को कम करने के लिए पीएम सूर्य घर योजना को सरकार प्रोत्साहन दे रही है।

योजना के अंतर्गत एक करोड़ परिवारों को 300 यूनिट तक फ्री बिजली प्रदान की जाएगी। योजना का उद्देश्य ग्रामीण और दूरदराज इलाकों में बिजली की समस्या खत्म करना तथा सुरक्षित पर्यावरण प्रदान करना है। योजना केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा आर्थिक सहायता प्रदान किया जा रहा है। इस योजना की खास बात यह है कि इसके तहत एक सोलर पैनल लगवाने के बाद कई वर्षो तक बिजली की मुफ्त आपूर्ति मिलती रहेगी। यह योजना आर्थिक और  पर्यावरणीय दृष्टिकोण से लाभदायक है। देश के आर्थिक विकास और उन्नति में ऊर्जा का महत्त्वपूर्ण भूमिका होती है। देश में ऊर्जा के विभिन्न आयामों को बढ़ावा देने से रोजगार का सृजन भी होता है। आने वाले कुछ वर्षो में एनर्जी सेक्टर में स्किल्ड वर्करों की मांग बढ़ेगी। भारत में बिजली समस्याओं से छुटकारा पाने में पीएम सूर्य घर योजना कारगर साबित हो रहा है लेकिन इसके समक्ष चुनौतियां कम नहीं हैं, जिन्हें नजरअंदाज़ नहीं किया जा सकता।

सौर ऊर्जा से उत्पादित बिजली भंडारण के लिए पूरी तरह से बैटरियों पर निर्भर होना पड़ता है, जो महंगी होती है तथा बैटरियों का सीमित जीवनकाल होता है, जिस वजह से बार -बार बदलना बड़ी समस्या बन सकती है। सौर ऊर्जा  परिवर्तनशील और अनियमित प्रकृति की है। इसका एकमात्र हल भंडारण ही है। वैश्विक स्तर पर सौर ऊर्जा  का भंडारण प्रति वर्ष 23 प्रतिशत की दर से बढ़ रही है।

अमेरिका और चीन में सौर ऊर्जा भंडारण सबसे ज्यादा है जबकि भारत में भंडारण की क्षमता सौर ऊर्जा उत्पादन से बहुत कम है। भारत वर्ष 2030 तक वैश्विक स्तर पर अक्षय ऊर्जा के उत्पादन में तीसरे स्थान पर होने की संभावना है, लेकिन अक्षय ऊर्जा भंडारण में विश्व में शीर्ष पांचवां देश होगा। सोलर पैनल्स का औसत जीवनकाल 20-25 वर्ष होता है, लेकिन समय के साथ इनकी उत्पादन क्षमता घटने लगती है, इन्हें बदलने की आवश्यकता होती है, इसलिए भविष्य में अधिक निवेश की आवश्यकता होगी।

भारत में सोलर पैनल और अन्य उपकरणों की प्रारंभिक लागत अधिक होती है, जो आमजन के लिए आर्थिक बोझ हो सकता है, भले ही सरकार सब्सिडी दे रही हो लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक किल्लत बड़ी समस्या है। ग्रामीण क्षेत्रों में सब्सिडी मिलने में देरी और सब्सिडी की जटिल प्रक्रिया होने से सोलर पैनल्स में निवेश करने से लोग हिचकिचाते हैं। लोगों में सोलर पैनल्स की तकनीकी जानकारी की भी कमी है, जिससे वे इस योजना के लाभ समझ नहीं पाते। सोलर पैनल्स के प्रदर्शन पर जलवायु परिवर्तन का भी प्रभाव पड़ सकता है। मौसम में अप्रत्याशित परिवर्तन होते हैं, तो इससे ऊर्जा उत्पादन प्रभावित हो सकता है। देश में सोलर पैनल्स की स्थापना के लिए प्रशिक्षित तकनीशियनों की भी कमी है। सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने से पर्यावरणीय प्रभाव कम होने के साथ ही ई-कचरा भी बढ़ेगा जिसकी रीसाइक्लिंग के लिए काफी निवेश करना होगा।

संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम की एक रिपोर्ट ने  वैश्विक स्तर पर चेताया है कि जीवाश्म ईधन का उपयोग कम नहीं किया गया तो ग्रीन हाउस गैसों का उत्सर्जन 2050 तक बढ़ कर दोगुना हो जाएगा। इसलिए आज वैश्विक स्तर पर सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने की जरूरत है। इसके लिए  तकनीकी सुधार और लागत कम करने के लिए अनुसंधान को बढ़ावा देना चाहिए। सौर उपकरणों और पैनलों पर करों में छूट देना चाहिए ताकि इन्हें सस्ता और सुलभ बनाया जा सके। सौर ऊर्जा से संबंधित आवश्यक अवसंरचना के विकास पर ध्यान देना चाहिए। पीएम सूर्यघर योजना बिजली की उच्च लागत उत्पादन को कम करते हैं तथा बिजली की उत्पादकता को बढ़ाते हैं। जरूरत इस बात की है कि सौर ऊर्जा की भंडारण क्षमता को बढ़ाने के लिए सरल और सस्ती प्रौद्योगिकी का विकास किया जाए।

अजय प्रताप तिवारी


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment