कोविड के बढ़ते मामलों, टीपीआर को लेकर विपक्षी दलों ने केरल सरकार की आलोचना की
केरल सरकार को कोविड-19 प्रबंधन के संबंध में कथित ‘लापरवाही’ और ‘मूर्खतापूर्ण’ फैसलों के लिए बृहस्पतिवार को अपने राजनीतिक विरोधियों और सार्वजनिक स्वास्थ्य विशेषज्ञों की आलोचना का सामना करना पड़ा।
(फाइल फोटो) |
आलोचकों के मुताबिक इन फैसलों के कारण दक्षिणी राज्य में नए मामलों और जांच में संक्रमण की पुष्टि की दर (टीपीआर) में वृद्धि हुयी है। केरल में फिलहाल देश में संक्रमण के दैनिक नए मामलों के करीब 70 प्रतिशत मामले दर्ज किए जा रहे हैं।
केरल में बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 31,445 नये मामले दर्ज किए गए जो इस अवधि में देश में सामने आए 46,164 मामलों का 68.11 प्रतिशत है।
इससे पहले टीपीआर बुधवार को 19.03 प्रतिशत थी। पिछली बार इसने 19 प्रतिशत का आंकड़ा तीन महीने पहले 26 मई को पार किया था जब यह दर 19.95 प्रतिशत दर्ज की गई थी।
केंद्रीय विदेश एवं संसदीय कार्य राज्य मंत्री वी मुरलीधरण ने इसका कारण केरल सरकार की “लापरवाही” बताया। उनके मुताबिक सरकार कोविड-19 के प्रबंधन के बजाय मोपला दंगों की बरसी मनाने पर ज्यादा ध्यान दे रही थी।
उन्होंने कहा, “राज्य सरकार की लापरवाही इसका कारण है।” साथ ही कहा कि वामपंथी सरकार, “मोपला दंगों की बरसी मनाने पर अधिक केंद्रित है।” उन्होंने नयी दिल्ली में मीडिया से कहा, “वह प्राथमिकता नहीं है। कोविड-19 से निपटना प्राथमिकता होनी चाहिए।”
कांग्रेस विधायक रमेश चेन्नीथला ने भी इसी तरह के विचार व्यक्ति किए जिन्होंने बृहस्पतिवार को मीडिया से कहा कि राज्य सरकार कोविड-19 के प्रसार को रोकने में विफल रही है। उन्होंने मांग की कि मुख्यमंत्री पिनराई विजयन लोगों से माफी मांगें।
उन्होंने भी आरोप लगाया कि राज्य सरकार की “लापरवाही” केरल में कोविड-19 के मामले बढ़ने के लिए जिम्मेदार है।
प्रख्यात जन स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉ एस एस लाल ने स्पष्ट कोविड प्रबंधन रणनीति की कमी, वैज्ञानिक समुदाय को निर्णायक फैसलों से दूर रखने और नौकरशाही के स्तर पर लिए गए “बेवकूफी भरे” फैसलों को बीमारी के मौजूदा तेज प्रसार के लिए जिम्मेदार ठहराया।
लाल कांग्रेस के टिकट पर हालिया विधानसभा चुनाव में मैदान में उतरे थे लेकिन उन्हें कामयाबी नहीं मिल सकी। लाल ने वाम सरकार से राज्य में व्याप्त वास्तविक स्थिति का मूल्यांकन करने के लिए वायरस के संक्रमण से संबंधित आंकड़े जारी करने का भी आग्रह किया।
इसी तरह का आरोप राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता वी डी सतीशन ने बुधवार को लगाया था और कहा था कि राज्य में कोविड नियंत्रण प्रणाली विफल हो गई है तथा वह चाहते हैं कि सरकार रोग प्रबंधन के लिए अपनी मौजूदा रणनीतियों एवं कार्यप्रणाली में सुधार करे।
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