Jharkhand Politics: BJP में जाने की अटकलों के बीच चंपई दिल्ली में
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ना केवल बगावत के मूड में हैं उनके कदम भाजपा की ओर बढ़ते दिखाई दे रहे है।
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन |
उन्होंने झारखंड मुक्ति मोर्चा में हो रहे अपमान को लेकर अपनी पीड़ा भी सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर व्यक्त की है और जल्द ही कोई बड़ा निर्णय लेने के संकेत भी दिये हैं। उनकी बगावत से जहां झारखंड मुक्ति मोर्चा को राज्य में बड़ा झटका लगेगा वहीं इसी वर्ष होने वाले चुनाव में उनकी यह बगावत भाजपा का रास्ता आसान कर सकती है।
चंपई सोरेन ने अब आगे का सफर भाजपा के साथ मिलकर चलने का मन बना लिया है। वह रविवार को दिल्ली आये तथा उससे पूर्व वह कलकत्ता भी गये। अपनी दिल्ली यात्रा को वह दिन भर निजी यात्रा बताते रहे है लेकिन उन्होंने भाजपा में शामिल होने से सीधा इन्कार नहीं किया है।
यह माना जा रहा है कि यदि चंपई सोरेन भाजपा में शामिल होते हैं तो उनके साथ कई अन्य विधायक भी झारखंड मुक्ति मोर्चा छोड़कर भाजपा में शामिल हो सकते हैं।
झारखंड के प्रमुख आदिवासी नेता चंपई सोरेन को इसी वर्ष 31 जनवरी को उस समय झारखंड का मुख्यमंत्री चुना गया जब राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को ्रभष्टाचार से जुड़े एक मामले में जेल जाना पड़ा था।
हेमंत सोरेन का जमानत मिलते ही उन पर दबाव बनाकर 3 जुलाई को उनका इस्तीफा ले लिया गया और हेमंत सोरेन पुन: मुख्यमंत्री बन गये। सोरेन को झारखंड का टाइगर कहा जाता है आर वह झारखंड के लोकप्रिय व जुझारू नेता के रूप में जाने जाते हैं।
दरअसल चंपई सोरेन वास्तव में मुख्यमंत्री का पद जाने से आहत नहीं हैं बल्कि जिस तरीके से उन्हें पद छोड़ने के लिये मजबूर किया गया और पद छोड़ने से पहले मुख्यमंत्री के रूप में उनके सभी सार्वजनिक कार्यक्रमों को स्थगित कर उन्हें अपमानित किया गया, इसी अपमान की वजह से सोरेन आहत हैे।
इस बात का जिक्र उन्होंने आज सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर भी किया है। झारखंड के आदिवासी समाज पर चंपई सोरेन की काफी पकड़ रही है।
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