Bhojshala ASI Survey: एएसआई ने धार की भोजशाला सर्वे रिपोर्ट 15 जुलाई को इंदौर हाईकोर्ट में पेश कर दी गई है। 22 जुलाई को इस मामले की अगली सुनवाई होगी।
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संस्था 'हिंदू फॉर जस्टिस' की ओर से याचिकाकर्ता आशीष गोयल ने बताया, " धार स्थित भोजशाला मंदिर को लेकर कानूनी लड़ाई हिंदू फॉर जस्टिस की ओर से लड़ी जा रही है। यहां पर बिना छुट्टी लिए 98 दिनों में एएसआई ने सर्वे किया है और 2000 से अधिक पन्नों की रिपोर्ट तैयार की है। इस रिपोर्ट को इंदौर हाईकोर्ट में पेश किया गया है। इस पर 22 जुलाई को अगली सुनवाई होनी है।"
हिंदू पक्षकार भोजशाला मुक्ति यज्ञ धार के संयोजक, गोपाल शर्मा एएसआई सर्वे के दौरान मौजूद रहे। उन्होंने सर्वे रिपोर्ट पर कहा, " पहले हाईकोर्ट के आदेश से सर्वे हुआ था, किसी कारणवश वो समय पर पेश नहीं हो पाया। इसके बाद रिपोर्ट पेश करने की अगली तारीख 15 जुलाई और सुनवाई की अगली तारीख 22 जुलाई तय की गई।"
उन्होंने बताया कि वैज्ञानिक तरीकों से सर्वेक्षण कराया गया। उन्होंने कहा, "अलग-अलग विधाओं की अलग-अलग फाइल बनाई गई। कार्बन डेटिंग वालों ने अपनी रिपोर्ट दी। इसके अलावा सर्वे टीम ने अपनी रिपोर्ट सौंपी। अब इस रिपोर्ट पर हाईकोर्ट 22 जुलाई को संज्ञान लेगा। हाईकोर्ट ने पिछली सुनवाई में कहा था कि जब तक उच्च न्यायालय सर्वे रिपोर्ट पर संज्ञान न ले, तब तक इसकी गोपनीयता बनाकर रखनी होगी।"
बता दें मध्य प्रदेश के धार जिले में स्थित भोजशाला वाकई में सरस्वती देवी का मंदिर था या मस्जिद, इसके परीक्षण के लिए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण ने सर्वे किया और सोमवार को अपनी रिपोर्ट उच्च न्यायालय की इंदौर खंडपीठ को सौंप दी।
ज्ञात हो कि लंबे अरसे से भोजशाला मंदिर था या मस्जिद इसको लेकर विवाद चल रहा है। यही कारण है कि यहां मंगलवार को पूजा होती है और शुक्रवार को नमाज अदा की जाती है। यह मामला उच्च न्यायालय की इंदौर खंडपीठ में पहुंचा जिसने एएसआई को सर्वे करने का निर्देश दिया। एएसआई ने 22 मार्च से सर्वे शुरू किया और 27 जून तक चला। कुल 98 दिन सर्वे हुआ। एएसआई के अनुरोध पर हाईकोर्ट ने 10 दिन का अतिरिक्त समय दिया था।
एएसआई ने सर्वे के दौरान खुदाई कराई, जिसकी वीडियो ग्राफी और फोटोग्राफी भी की गई। साथ ही इसमें ग्राउंड पेनिट्रेशन रडार (जीपीआर)और ग्लोबल सिस्टम(जीपीएस) की सहायता भी ली गई। इस सर्वे के दौरान एएसआई को 1700 से ज्यादा अवशेष मिले। भोजशाला के मंदिर होने का दावा करने वाली भोजशाला मुक्ति यज्ञ के पदाधिकारी का कहा है कि सर्वे के दौरान एएसआई को जो पुरा- अवशेष मिले हैं, वह भोजशाला के मंदिर होने का प्रमाण है।
जो 37 मूर्तियां मिली है उनमें भगवान कृष्ण ,हनुमान, शिव, ब्रह्मा, वाग देवी, गणेश, पार्वती, भैरवनाथ आदि देवी देवताओं की मूर्तियां शामिल है।
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