भ्रष्टाचारी प्रणव कैसे बन सकते हैं तीनों सेनाओं के अध्यक्ष: टीम अन्ना
राष्ट्रपति पद के लिए यूपीए के उम्मीदवार प्रणव मुखर्जी को आड़े हाथों लेते हुए टीम अन्ना ने उन पर गंभीर आरोप लगाए हैं.
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देश के आगामी राष्ट्रपति पद के लिए प्रणव की उम्मीदवारी लगभग तय मानी जा रही है. इसके पीछे तर्क माना जा रहा है कि एनडीए घटक दल के कुछ सदस्य भी प्रणव के साथ होने के संकेत दे रहे हैं.
प्रणव के रास्ते में जो सबसे बड़ी अड़चन आ रही है वह है टीम अन्ना का खुलकर उनके विरोध में आ जाना.
देश में व्याप्त भ्रष्टाचार के चलते जन लोकपाल विधेयक की मांग कर रही टीम अन्ना के निशाने पर प्रणव भी हैं.
टीम अन्ना के सदस्य मनीष सिसोदिया ने कहा कि साल 2005 के नेवी वार रूम लीक मामले में प्रणब मुखर्जी की भूमिका पर भी संदेह है. उनकी भूमिका की जांच के बिना उन्हें राष्ट्रपति नहीं बनना चाहिए.
टीम अन्ना ने अपनी वेबसाइट पर भी एक दस्तावेज जारी किया है जिसमें प्रणब मुखर्जी के ऊपर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए गए हैं.
टीम अन्ना ने सवाल किया है कि 18 हजार करोड़ रुपए की स्कार्पियन डील में चार प्रतिशत कमीशन कांग्रेस पार्टी को मिलने संबंधी ईमेल रक्षा सौदों के दलाल अभिषेक वर्मा को मिले थे. प्रणब मुखर्जी उस समय रक्षा मंत्री थे, उन्होंने पूरे मामले की जांच के आदेश क्यों नहीं दिए?
टीम अन्ना ने सवाल किया है कि नेवी वार रूम लीक मामले में नौसेना के दस्तावेज लीक होने के मामले की जांच के आदेश तो दे दिए गए लेकिन इस बात की जांच नहीं कराई गई कि दस्तावेजों में क्या था.
टीम अन्ना के आरोपों के मुताबिक उन दस्तावेजों में स्कार्पियन डील में कांग्रेस पार्टी को डील पर कमीशन मिलने संबंधी सबूत थे.
प्रणब मुखर्जी पर आरोप लगाते हुए टीम अन्ना के वरिष्ठ सदस्य अरविंद केजरीवाल ने कहा कि प्रणब मुखर्जी पर भ्रष्टाचार के दो बहुत संगीन मामले हैं.
उन्होंने कहा बगैर भ्रष्टाचार के मामलों की जांच के उनका राष्ट्रपति के तौर पर तीनों सेनाओं का कमांडर बनना उचित नहीं होगा.
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