सबसे सुंदर ही नहीं सबसे स्वच्छ भी होगी राम नगरी

Last Updated 07 Jan 2021 06:43:42 PM IST

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छता मिशन के लक्ष्य को साकार कर अयोध्या को विश्वस्तरीय धार्मिक पर्यटन नगरी बनाने की तैयारी। नगर निगम अयोध्या और आईआईएम इंदौर के बीच सहमति पत्र (MoU) पर हस्ताक्षर।


अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के साथ ही पूरी होगी राम नगरी (फाइल फोटो)

रामनाथ जहँ राजा
सो पुर बरनि कि जाइ?
अनिमादिक् सुख सम्पदा
रहीं अवध सब छाहिं

(राम जहाँ के राजा हैं उसकी शोभा का वर्णन क्या किया जा सकता है? अणिमा आदि आठों सिद्धियां और समस्त सुख सम्पदा आयोध्या में हैं)

राम नगरी की जिस भव्यता और दिव्यता का बखान तुलसीदास ने रामचरित मानस में किया है वो एक बार फिर वापस लाने की तैयारी है। अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के साथ ही पूरी राम नगरी को विश्व पटल पर आकर्षण का केंद्र बनाने के लिए योगी सरकार के प्रयासों को एक और कामयाबी मिली है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘स्वच्छ भारत मिशन’ के तहत अयोध्या को स्वच्छ और सुंदर बनाने के लिए अयोध्या नगर निगम( म्युनिसिपल कारपोरेशन ऑफ़ अयोध्या) और भारतीय प्रबंध संस्थान (IIM) इंदौर के बीच सह्मति पत्र  पर हस्ताक्षर हुआ है। इसके तहत स्वच्छ भारत मिशन के तीन बिंदुओं IEC (इन्फॉर्मेशन, एजुकेशन, कम्युनिकेशन) पर काम होगा।
 
अयोध्या में भव्य राम मंदिर के निर्माण के लिए समर्पण निधि का अभियान मकर संक्रांति से शुरू होगा। इस बीच राम नगरी अयोध्या में विश्वस्तरीय सुविधाओं के साथ बुनियादी ढाँचे और अवस्थापना विकास की संभावनाओं को भी बढ़ाया जा रहा है। खुद यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इसके लिए प्रयासरत हैं। लेकिन सुंदर अयोध्या स्वच्छता के लक्ष्य के बिना संभव नहीं। इसके लिएअब अयोध्या नगर निगम ने पहल की है।  

अयोध्या नगर निगम ने भारतीय प्रबंध संस्थान इंदौर के साथ 21 दिसंबर को समझौता पत्र (एम् ओ यू) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस समझौते पत्र पर आई आई एम, इंदौर के निदेशक प्रो हिमांशु राय और नगर आयुक्त, अयोध्या विशाल सिंह ने हस्ताक्षर किए हैं। इसके तहत जहाँ संस्थान की पाँच सदस्यीय विशेषज्ञों की टीम आई ई सी (IEC) के इन तीन बिंदुओं (सूचना, शिक्षा, संवाद) पर एक विस्तृत कार्ययोजना तैयार करेगी वहीँ नगर निगम के कर्मचारियों की दक्षता (कैपसिटी बिल्डिंग) के लिए भी रास्ते सुझाएगी। आगे इसके लिए विशेषज्ञ ट्रेनिंग प्रोग्राम के ज़रिए भी लक्ष्य पर कार्य करेंगे। इसके साथ ही अयोध्या को स्वच्छता के मानक में उत्कृष्ट बनाने पर काम होगा। हाल ही में उत्तर प्रदेश के पर्यटन विभाग ने भी पर्यटन स्थलों को विश्वस्तरीय बनाने और रोज़गार की संभावनाएं तलाशने के लिए आई आई एम् इंदौर से समझौते पत्र पर हस्ताक्षर किए हैं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अयोध्या की समीक्षा बैठकों में इस बात पर विशेष ज़ोर दिया था कि पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए स्वच्छता के लक्ष्य पर विशेष ध्यान दिया जाए। दरअसल स्वच्छभारत मिशन के मानकों के लक्ष्य को हासिल करना अयोध्या के विकास की संभावनाओं में भी पंख लगा देगा। क्योंकि इससे जहाँ देशी विदेशी पर्यटकों का रुझान बढ़ेगा वहीँ विश्व की अन्य धार्मिक - आध्यात्मिक पर्यटन शहरों के मुकाबले के लिए भी राम नगरी तैयार होगी। इस समझौते के लिए प्रयास करने वाले अयोध्या के नगर आयुक्त विशाल सिंह कहते हैं कि 'आईआईएम इंदौर में अलग-अलग विषयों में दक्ष सबसे अच्छे प्रबंधन विशेषज्ञ हैं। हमें उम्मीद है कि इस समझौते से स्वच्छता में अग्रणी इंदौर शहर की सबसे अच्छी बातों को अयोध्या में भी लागू किया जा सकेगा।' इस काम को करने वाली टीम का नेतृत्व संस्थान के निदेशक प्रो हिमांशु राय करेंगे जो मैनेजमेंट के साथ योग के भी विशेषज्ञ हैं। मध्य प्रदेश और यूपी सरकार के साथ कई महत्वपूर्ण विभागों के साथ काम कर रहे प्रो हिमांशु राय रामनगरी को स्वच्छता में अग्रणी बनाने के प्रोजेक्ट पर काम करने पर उत्साहित हैं। प्रो राय का कहना है कि ‘सम्पूर्ण विश्व में श्रीराम नगरी अयोध्या सबसे सुंदर होने के साथ ही सबसे स्वच्छ तीर्थस्थल हो इस सोच के साथ अयोध्या नगर निगम के साथ मिलकर कार्य योजना तैयार की जा रही है।’

अयोध्या को संवारने के लक्ष्य पर कार्य करने वाली इस टीम में अर्थशास्त्र के विशेषज्ञ प्रो गणेश एन., प्रो प्रशांत सलवान, प्रो श्रुति तिवारी और प्रो आदित्य देशबंधु भी शामिल हैं।

लखनऊ
शिल्पी सेन


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