मुख्यमंत्री बदलने के बजाय भाजपा सरकार को हटाया जाना चाहिए: कांग्रेस

Last Updated 26 Jul 2021 05:45:53 PM IST

कर्नाटक में कांग्रेस ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने वाले बी एस येदियुरप्पा का एक विकल्प खोजने के बजाय राज्य की भाजपा सरकार को हटाने की सोमवार को मांग की।


(फाइल फोटो)
मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने आरोप लगाया कि कर्नाटक में भाजपा सरकार ‘अवैध’’ है क्योंकि यह दलबदल और भ्रष्टाचार से उत्पन्न हुई है। कांग्रेस ने साथ ही यह सवाल भी किया कि क्या चेहरा बदलने से सरकार का ‘भ्रष्ट चरित्र’ भी बदल जाएगा।

पूर्व मुख्यमंत्री एवं कर्नाटक विधानसभा में विपक्ष के नेता सिद्धरमैया ने ट्वीट किया, ‘‘आम आदमी के लिए कोई फायदा नहीं है, अगर एक भ्रष्ट मुख्यमंत्री को हटाकर दूसरे भ्रष्ट को मुख्यमंत्री बनाया जाए। इसके बजाय पूरी भाजपा पार्टी को बाहर कर दिया जाना चाहिए, जो लोगों के दुखों के लिए जिम्मेदार है।’’

येदियुरप्पा के इस्तीफे पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि भाजपा में ‘‘सत्ता की राजनीति’’ दुर्भाग्यपूर्ण है जब लोग प्राकृतिक आपदाओं के कारण पीड़ित हैं।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा, ‘‘बाढ़ के कारण कई जिलों में फसलें नष्ट हो गई हैं और 9 लोगों की जान चली गई है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि सरकार के प्रतिनिधि संकट में लोगों की मदद करने के बजाय सत्ता की राजनीति में व्यस्त हैं।’’

कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव एवं पार्टी के कर्नाटक प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि यह समस्या भाजपा की भ्रष्ट सरकार और कर्नाटक में कुशासन के साथ है, क्योंकि यह ‘दलबदल और भ्रष्टाचार’ से उत्पन्न हुई एक विधि विरुद्ध सरकार है।’’

सुरजेवाला ने ट्वीट किया, ‘‘सिर्फ चेहरा बदलने से भाजपा सरकार का भ्रष्ट चरित्र नहीं बदलने वाला है। सच्चाई यह है कि मोदी जी आदततन भाजपा के वरिष्ठ नेताओं को अपमानित करते हैं और उन्हें इतिहास के कूड़ेदान में डाल देते हैं।’’

उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘इस्तीफा देने के लिए आदेश देकर मोदी जी द्वारा श्री बी एस येदियुरप्पा को अपमानित किया गया है। वह मोदी जी के सबसे ताजा शिकार हैं और ‘‘जबरन सेवानिवृत्ति क्लब’ के सदस्य बने हैं।’’

येदियुरप्पा के इस्तीफे पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डी के शिवकुमार ने कहा कि मुख्यमंत्री को यह बताना चाहिए कि जब उन्होंने अपने इस्तीफे की घोषणा की तो वह भावुक क्यों हो गए और उनका गला क्यों रुंध गया।

शिवकुमार ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘येदियुरप्पा नहीं रो रहे थे बल्कि राज्य और उसके मुख्यमंत्री की आंखों में आंसू थे। हम विपक्षी दल अलग हैं, लेकिन वह सरकार का प्रतिनिधित्व करते हैं। इसलिए येदियुरप्पा को बताना चाहिए कि क्या वह रो रहे थे, राज्य रो रहा था या पार्टी रो रही थी।’’
 
येदियुरप्पा ने अपने इस्तीफे की घोषणा करते हुए भावुक होते हुए एवं रुंधे गले से कहा था कि उनकी पार्टी के कुछ विधायक उनसे खुश नहीं थे। उन्होंने ऐसा करते हुए यह संकेत दिया कि वह उनके बयानों से अप्रसन्न थे।

भाजपा विधायकों में सबसे मुखर विजयपुरा के विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल थे, जिन्होंने येदियुरप्पा के पद छोड़ने की भविष्यवाणी करते हुए आरोप लगाया था कि वह और उनके परिवार के सदस्य भ्रष्टाचार में शामिल हैं।

येदियुरप्पा, उनके सांसद-बेटे बी वाई राघवेंद्र और भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष बी वाई विजयेंद्र पर निशाना साधते हुए यतनाल ने भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व से कर्नाटक भाजपा में ‘वंशवादी राजनीति’ को समाप्त करने के लिए कहा था।

एमएलसी ए एच विश्वनाथ ने भी कई बार येदियुरप्पा के इस्तीफे की मांग की थी।
 
 

भाषा
बेंगलुरु


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