कश्मीर में चुनाव की बयार
अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में थे। लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने के बाद उनका कश्मीर का यह पहला दौरा है।
कश्मीर में चुनाव की बयार |
आतंकी हमलों के बीच मोदी का कश्मीर दौरा काफी अहम माना जा रहा है। उन्होंने अपने भाषण में आतंकवादियों को कड़ा संदेश दिया। पिछले दिनों यहां लगातार चार आतंकी हमले हुए जिन्होंने सुरक्षा बलों और गृह मंत्रालय की चिंता बढ़ा दी थी। प्रधानमंत्री मोदी ने आतंकवादियों को चेतावनी देते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर के दुश्मनों को सबक सिखाने में हिचकिचाएंगे नहीं।
लोक सभा का चुनाव यहां शांतिपूर्ण हुआ और लोगों ने उत्साह के साथ मतदान में भाग लिया। जाहिर है इसके कारण मतदान प्रतिशत में भारी इजाफा हुआ। अलगाववादियों और आतंकवादियों को यह पसंद नहीं आया और उन्होंने एक के बाद एक हमले किए जिनमें तीर्थयात्री भी शामिल थे। वास्तव में आतंकी विश्व जनमत को संदेश देना चाहते थे कि कश्मीर में सबकुछ सामान्य नहीं है। संविधान के अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद पहली बार प्रदेश में लोक सभा के चुनाव हुए।
इस चुनाव में लोग अपने मताधिकार का इस्तेमाल करने के लिए जिस उत्साह से घरों से बाहर निकले उससे प्रधानमंत्री मोदी भी उत्साहित हुए। उन्होंने कहा कि सबको बांटने वाले अनुच्छेद 370 की दीवार अब गिर चुकी है।
वास्तव में 5 अगस्त, 2019 का ऐतिहासिक दिन कश्मीर और समूचे भारतवासियों के लिए बंदिशों से आजादी का दिन था। अब यहां पर्यटक बेखौफ होकर आ रहे हैं। युवा वर्ग अपने करियर के बारे में जागरूक हो गया है। अनुकूल वातावरण को देखकर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि प्रदेश में जब भी विधानसभा के चुनाव होंगे और इस केंद्रशासित प्रदेश को पूर्ण राज्य का दर्जा मिलेगा।
उन्होंने कश्मीर के बारे में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नजरिये ‘इंसानियत, जम्हूरियत और कश्मीरियत’ को याद करते हुए कहा कि इसे हम हकीकत में बदलते हुए देख रहे हैं।
उम्मीद की जानी चाहिए कि प्रदेश में विधानसभा चुनाव जल्द होंगे और लोकप्रिय सरकार का गठन होगा। लेकिन केंद्र सरकार को सतर्क रहना होगा क्योंकि आतंकवादी चुनाव प्रक्रिया को बाधित करने का हरसंभव प्रयास करेंगे।
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