बरेली में उलमा का आह्वान : स्वतंत्रता दिवस पर हर मुसलमान अपने घर, दुकान व मदरसे पर फहराए तिरंगा

Last Updated 13 Aug 2024 07:50:43 PM IST

भारत की स्वतंत्रता के 76 वर्ष पूरे होने के मौके पर ऑल इंडिया मुस्लिम जमात से जुड़े उलमा की एक महत्वपूर्ण बैठक दारुल उलूम शाने आला हजरत, बिहारीपुर बरेली में आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता करते हुए संगठन के अध्यक्ष मौलाना मुफ्ती शहाबुद्दीन रिजवी बरेलवी ने देशभर के मुसलमानों से अपील की कि वे अपने घर, दुकान और इस्लामी संस्थानों जैसे मदरसों, दरगाहों, स्कूलों और कॉलेजों पर तिरंगा झंडा लगाएं।


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मौलाना शहाबुद्दीन रिजवी ने कहा, "भारत को आजाद  हुए 76 साल हो चुके हैं। हम इस खुशी के मौके पर हर भारतीय, विशेषकर मुसलमानों से अनुरोध करते हैं कि वे 12 से 16 अगस्त तक अपने घरों और दुकानों पर तिरंगा झंडा फहराएं। मदरसों और शैक्षिक संस्थानों को भी इस अवसर पर धूमधाम से स्वतंत्रता दिवस मनाना चाहिए और इस कार्यक्रमों का आयोजन करना चाहिए।" उन्होंने कहा कि तिरंगा झंडा हमारे देश की पहचान है और यह सभी धर्मों के लोगों के योगदान का प्रतीक है।

बैठक में मदरसे के छात्रों ने तराना-ए-हिंद का पाठ किया और अंग्रेजों के खिलाफ संघर्ष करने वाले शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। विशेष रूप से, अल्लामा फजले हक खैराबादी, मुफ्ती रजा अली खां बरेलवी और खान बहादुर खां द्वारा देश की आजादी में निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका को याद किया गया। मौलाना ने बताया कि कई उलेमा को अंग्रेजों ने उनकी भागीदारी के लिए दंडित किया था, कुछ को काला पानी भेजा गया और कुछ को फांसी दी गई थी। स्वतंत्रता संग्राम में हिंदू और मुस्लिम समुदायों का समान योगदान था, और यह लड़ाई सभी वर्गों की बलिदान के बाद सफल हुई।

बैठक में मौलाना सूफी मुजाहिद हुसैन, मुफ्ती शेख सिराजुद्दीन कादरी, मौलाना अबसार रजा हबीबी और समाजसेवी हाजी नाजिम बेग जैसे प्रमुख लोगों ने भी विचार व्‍यक्‍त किए। हाजी नाजिम बेग ने सरकार से स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के नाम पर डाक टिकट जारी करने और चौराहों का नामकरण करने की मांग की। बैठक में कारी रजी अहमद, हाफिज शाहनवाज रजवी, हाफि‍ज अब्दुल वाहिद नूरी और अन्य गणमान्य लोग भी उपस्थित थे।

 

 

आईएएनएस
बरेली


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