जलवायु परिवर्तन ने भारत में रातों का तापमान बढ़ाया
जलवायु परिवर्तन (Climate change) का असर पूरी दुनिया में देखने का मिल रहा है। भारत में इसका एक असर यह भी हुआ है कि रातों को औसतन गर्मी हो रही है।
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अक्टूबर महीने में न्यूनतम तापमान के मामले में 123 वर्षों का रिकार्ड टूटा है। नवम्बर में भी यह सिलसिला जारी रहने के आसार हैं।
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के महानिदेशक डा. मृत्युजंय महापात्र (Dr. Mrutyunjay Mohapatra) ने राष्ट्रीय सहारा से कहा कि जलवायु परिवर्तन का असर पूरी दुनिया में दिखायी दे रहा है। लेकिन मौसम विभाग भारत के मामले में अध्ययन कर आंकड़े पेश कर रहा है।
उन्होंने कहा कि अक्टूबर में ट्रेंड देखा गया है कि न्यूनतम तामपान औसतन अधिक रहा।
डा. महापात्र के अनुसार नवम्बर में भी उत्तर-पश्चिम भारत को छोड़कर सभी भौगोलिक क्षेत्रों में रातें सामान्य से अधिक गर्म होंगी। दक्षिण-पश्चिम मानसून के देरी से बाहर निकलने से मानसून का प्रवाह जारी रहा। उन्होंने कहा चार कम दबाव प्रणाली और पश्चिमी विक्षोभ के न आने के कारण सभी ने अक्टूबर में सामान्य से अधिक गर्मी रही।
अक्टूबर देश के लिए मौसम के लिहाज से काफी हद तक सक्रिय महीना रहा, जिसमें चक्रवात दाना के कारण ओडिशा और पश्चिम बंगाल में भारी और व्यापक वष्रा हुई। पिछले महीने, अखिल भारतीय औसत न्यूनतम तापमान 21.85 डिग्री सेल्सियस था, जबकि सामान्य तापमान 20.01 डिग्री होता है।
इसी तरह, उत्तर-पश्चिम भारत (मासिक औसत 19.07 डिग्री), मध्य भारत (मासिक औसत 23.10 डिग्री) और दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत (मासिक औसत 23.45 डिग्री) में न्यूनतम तापमान ने 1901 के बाद से अक्टूबर के लिए नए रिकॉर्ड बनाए।
पिछले महीने सामान्य बारिश दर्ज की गई, जिसमें पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत (14.3 प्रतिशत) और दक्षिणी भारत (11.8 प्रतिशत) सामान्य से अधिक थे, यह मुख्य रूप से सक्रिय पूर्वोत्तर मानसून के कारण था।
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