साइबर धोखाधड़ी से जुड़े वैश्विक रैकेट में शामिल व्यक्ति गिरफ्तार
राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने शुक्रवार को अंतरराष्ट्रीय मानव तस्करी गिरोह का प्रमुख सदस्य होने के संदेह में महाराष्ट्र के नासिक से एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है।
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संदेह है कि गिरफ्तार सुदर्शन दराडे युवाओं को क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी और मोहपाश में फंसाने (हनी ट्रैपिंग) सहित अवैध ऑनलाइन गतिविधियों में धकेलता रहा है। जांच एजेंसी की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि सुदर्शन दराडे इस मामले में गिरफ्तार किया गया छठा व्यक्ति है।
जांच एजेंसी के अनुसार, जांच से पता चला है कि दराडे सीधे तौर पर संगठित तस्करी गिरोह में शामिल था, जो भारतीय युवाओं को वहां वैध रोजगार दिलाने के झूठे वादे में फंसाकर विदेश में तस्करी करता था।
एनआईए ने कहा कि युवाओं को गोल्डन ट्राएंगल स्पेशल इकोनॉमिक जोन सहित लाओस के विभिन्न स्थानों और कंबोडिया में फर्जी कॉल सेंटर में काम करने के लिए मजबूर किया जा रहा था, जो मुख्य रूप से विदेशी नागरिकों द्वारा नियंत्रित गिरोहों के माध्यम से संचालित किए जाते थे। येंिसंडिकेट (गिरोह) भारत के विभिन्न हिस्सों के साथ-साथ कंबोडिया और लाओस के अलावा संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) और वियतनाम जैसे अन्य देशों में स्थित गुगरें से जुड़े थे।
एनआईए की जांच के अनुसार, मानव तस्करी के जरिए लाए गए युवाओं को क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी, नकली ऐप का उपयोग करके क्रिप्टोकरेंसी में निवेश और हनी ट्रैपिंग जैसी अवैध ऑनलाइन गतिविधियों में शामिल होने के लिए मजबूर किया जाता था। एनआईए ने शुक्रवार को मानव तस्करी और साइबर धोखाधड़ी मामले के सिलसिले में महाराष्ट्र के नासिक में बड़े पैमाने पर तलाशी के बाद एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया।
एनआईए और पुलिस बलों द्वारा विभिन्न राज्यों में संयुक्त तलाशी अभियान के बाद 27 मई को पांच अन्य लोगों को गिरफ्तार किया गया था। जांच एजेंसी ने कहा, तलाशी में कई आपत्तिजनक सामग्री जब्त की गई, जिसमें विभिन्न दस्तावेज, डिजिटल उपकरण, बैंक खातों का विवरण आदि शामिल हैं। एनआईए इन सामग्रियों की जांच मानव तस्करी और जबरन साइबर धोखाधड़ी मामले के पीछे की साजिश को उजागर करने के लिए जांच कर रही है।
एनआईए ने 13 मई को उस वक्त मुंबई पुलिस से यह मामला अपने हाथ में ले लिया था, जब प्रारंभिक जांच में तस्करों और साइबर जालसाजों के बीच देशव्यापी गठजोड़ का पता चला था। ये अंतरराष्ट्रीय गिरोहों के आदेश पर काम कर रहे थे। एनआईए ने कहा, अब तक गिरफ्तार किए गए सभी आरोपी थाईलैंड, कंबोडिया और वियतनाम से भारतीय युवाओं को अवैध रूप से लाओस एसईजेड में भेजने के लिए अंतरराष्ट्रीय सीमा पार से सक्रिय तस्करों के साथ मिलकर काम कर रहे थे।
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